RTE : RTE के तहत निर्धन माता-पिता को एक और मौका, जल्द करें आवेदन

RTE : सरकार कमजोर वर्ग व सामान्य जाति के आर्थिक रूप से निर्धन माता-पिता को बच्चे का भविष्य सुधारने का एक और मौका दे रही है।किसी कारणवश यदि किसी बच्चे को निजी स्कूलों में प्रवेश नहीं मिला हो, तो उन्हें निराश होने की जरूरत नहीं है। RTE के तहत राज्यभर के 3965 निजी स्कूलों में प्रवेश प्रक्रिया दूसरी बार प्रारंभ हो गई है।

शिक्षा का अधिकार अधिनियम एक ऐसा प्रावधान है जिसके अंतर्गत भारतीय नागरिकों को शिक्षा का अधिकार दिया गया है। कई समुदाय के वर्गों के बीच हमारा सविधान आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के विद्यार्थियों के भविष्य के लिए RTE के तहत फ्री शिक्षा प्रदान करती है। प्रति वर्ष आयोजित होने वाली इस प्रकिया में इस वर्ष 50 प्रतिशत सीटें राजयभर में खाली रह गई। जिसके अंतर्गत पुनः 3965 निजी स्कूलों में प्रवेश के लिए लॉटरी प्रक्रिया दूसरी बार प्रारंभ हो गई है।

इस वर्ष पहले राउंड में इस बार निर्धारित 34,230 सीटों में से 17,065 बच्चों को ही आनलाइन स्कूल आवंटित किए गए। जिसके करीब पचास प्रतिशत सीटें रिक्त रह गई हैं। इन रिक्त सीटों पर अभिभावकों की पुन: प्रवेश प्रक्रिया आरंभ करने का अनुरोध किया गया। जिसके बाद अपर राज्य परियोजना निदेशक समग्र शिक्षा डा. मुकुल कुमार सती ने समस्त मुख्य शिक्षा अधिकारी (सीईओ) व जिला शिक्षा अधिकारी को पत्र जारी कर रिक्त सीटों की गणना कर द्वितीय चरण के अंतर्गत प्रवेश के लिए सीटें पोर्टल पर जारी करने का निर्देश दिए हैं।

पहले चरण की प्रक्रिया में सबसे अधिक एडमिशन उधमसिंहनगर जिले में 5274 बच्चों को मिला, जबकि सबसे कम रुद्रप्रयाग जिले के 72 बच्चों का चयन हुआ। बता दें पहले चरण में कुल 25, 325 आवेदन भरे गए जिनमें से केवल 17,065 बच्चे ही स्कूलों में एडमिशन लेने में सफल रहे। वहीं अब दूसरे चरण में भी परिजनों को पहले चरण की तरह ही आवेदन प्रक्रिया को पूरा करना होगा। साथ ही RTE के पोर्टल पर उनके आवेदन में जो त्रुटि मिली उसमें सुधार करना होगा।

अंतिम तिथियां –

आवेदन : एक से 20 अगस्त, 2023

प्रथम चरण का आकड़ा –

जिले का नाम, आरक्षित सीटें, चयनित, रिक्त सीटें
अल्मोड़ा 1581 489 1092
बागेश्वर 667 147 520
चमोली, 484 112 372
चम्पावत 564 410 154
देहरादून 6297 4500 1797
हरिद्वार 8124 2429 5,695
नैनीताल 3050 1793 1257
पौड़ी 1406 592 814
पिथौरागढ़ 1492 527 965
रुद्रप्रयाग 624 72 552
टिहरी 1422 233 1,189
यूएस नगर 7546 5274 2272
उत्तरकाशी 973 487 486


कुल, 34,230, 17,065, 17,165

क्या है RTE ?

हमारे देश के संविधान के आर्टिकल 21(A) में प्रावधान किया गया है कि 6 से 14 वर्ष तक के बच्चों के लिए अनिवार्य और नि:शुल्क शिक्षा प्रदान की जाएगी। इस आर्टिकल को ही आरटीई एक्ट अर्थात राइट टू एजुकेशन (शिक्षा का अधिकार अधिनियम) कहा जाता है। निशुल्क और अनिवार्य शिक्षा को आरटीई अधिनियम के शीर्षक में शामिल किया गया है जिसका मतलब यह है कि 6 से 14 वर्ष तक के जो बच्चे अपनी प्रारंभिक शिक्षा को जारी रखने में असमर्थ है अर्थात किसी कारण वश वे अपने शिक्षा को जारी नहीं रख पाते तो उन्हें शिक्षा का अधिकार मिलेगा, जिसमें किसी भी तरह की फीस या अन्य शुल्क का भुगतान उन्हें नहीं करना होगा। इस अधिनियम के अंतर्गत 6 से 14 साल के बच्चों को ना तो क्लास में फेल किया जा सकता है, और ना ही उन्हें स्कूल से निकाला जा सकता है। 4 अगस्त 2009 को संसद में इसे पारित किया गया, जो 1 अप्रैल 2009 को संपूर्ण भारत में लागू हुआ।

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