Badrinath Dham: बद्रीनाथ धाम के कपाट शुक्रवार 15 मई को सुबह 4.30 बजे खुलेंगे। इससे पहले आज, भगवान बद्री विशाल के धाम को 10 क्विंटल गेंदे के फूलों से सजाया गया है। बद्रीनाथ सिंह द्वार , मंदिर परिसर, परिक्रमा स्थल, तप्त कुंड के साथ-साथ विभिन्न स्थानों पर लगातार सफाई ( sanitize) की जा रही है। वहीं, पुष्प सेवा समिति ऋषिकेश की ओर से मंदिर को सजाया गया है।
गुरुवार को योग ध्यान बद्री मंदिर पांडुकेश्वर से , कुबेरजी, उद्धवजी, गरुड़, आदि गुरु शंकराचार्य की गद्दी और गाडू घड़ा तेल कलश यात्रा बद्रीनाथ, ईश्वरी प्रसाद नंबूदरी बद्रीनाथ धाम के रावल (मुख्य पुजारी) के साथ पहुंची।
आपको बता दें कि धाम के कपाट खुलने के अवसर पर केवल 28 लोगों को ही उपस्थित रहने की अनुमति प्रशासन ने दी है। गुरुवार को योग ध्यान बद्री मंदिर, पांडुकेश्वर में कुबेर जी, उद्धव जी और गरुड़ की विशेष पूजाएँ हुईं। लोगों ने सामाजिक दूरी का पालन किया और भगवान को फूल चढ़ाए।
भक्तों ने कोरोना संकट से राहत देने के लिए भगवान बद्रीनाथ से प्रार्थना की। सुबह पांडुकेश्वर से डोली यात्रा बद्रीनाथ के रावल (मुख्य पुजारी) ईश्वरी प्रसाद नंबूदरी के साथ बद्रीनाथ धाम के लिए रवाना हुई, फिर पुलिस ने पांडुकेश्वर में ही यात्रा को रोक दिया।
पुलिस द्वारा सभी की जाँच की गई, जिनके पास नहीं बने थे उन्हें वापस भेज दिया गया। लोगों ने डोली को रोकने का विरोध भी किया। उन्होंने कहा कि डोली को इस तरह रोकना अशुभ माना जाता है। इस बार बद्रीनाथ धाम के मुख्य पुजारी सहित मंदिर से जुड़े 28 लोग ही भगवान बद्रीनाथ की अखंड ज्योति के दर्शन कर पाएंगे।